आगरा में एसटीएफ ने नकली दवाओं की बड़ी सप्लाई का खुलासा किया है। पिछली रात संजय प्लेस से कासगंज के अनुराग कौशल को नकली दवाओं के साथ गिरफ्तार किया गया। आरोपी के पास से नकली दवाओं से भरा कार्टन बरामद हुआ। यह दवाएं शिमला (हिमाचल) के दीपक अमौली और करनाल (हरियाणा) के रोहित सचदेवा से लाई जा रही थीं। इसके अतिरिक्त, सोनीपत (हरियाणा) के संदीप और अलीगढ़ के पीयूष फपाला के नाम भी पूछताछ में सामने आए हैं।
एसटीएफ के अनुसार, आरोपी अनुराग कौशल अलीगंज, एटा में जन औषधि केंद्र की आड़ में नकली दवाओं का कारोबार कर रहा था। 2018 में प्राप्त जन औषधि केंद्र का लाइसेंस 2023 में रद्द कर दिया गया था। आरोपी ने यह भी खुलासा किया कि वह रोडवेज बसों के जरिए हिमाचल और हरियाणा से दवाएं मंगवाता था, जिसमें चालक और परिचालकों को 2000 रुपये तक की राशि देता था।
एसटीएफ के इंस्पेक्टर हुकुम सिंह के अनुसार, आरोपी के पास से 1050 पत्ते ग्रो-250 (एमोक्सीलिन कैप्सूल आइपी 250 एमजी) के बरामद किए गए हैं। इस मामले में हरीपर्वत थाने में आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है।
इसके अलावा, एक दिन पहले ही अवैध इंजेक्शन की खेप पकड़ी गई थी, जो हरियाणा में नशे के लिए भेजी जा रही थी। हरियाणा स्टेट एंटी नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो ने झज्जर के बहादुरगढ़ से दो आरोपियों को नशीले इंजेक्शनों के साथ गिरफ्तार किया था, जिनका आगरा और फिरोजाबाद से संबंध था।